दूधराज या सुल्ताना बुलबुल, जिसे अंग्रेज़ी में एशियाई पैराडाइस फ्लाईकैचर (Asian Paradise Flycatcher) कहते हैं. उनमें नरों की दुम पर लम्बे पंख होते हैं जो उत्तर भारत में अक्सर सफ़ेद रंग के होते है लेकिन अन्य जगहों पर आमतौर से काले या लाल-भूरे रंग के होते हैं.यह मध्य प्रदेश का राजकीय पक्षी दूधराज है. दूधराज मछरमनी परिवार का हिस्सा होता है. हवा में कीट-पतंगों को पकड़कर अपना भोजन करने के लिए जाने जाते हैं साथ ही यह घनी टहनियों वाले पेड़ों के नीचे कीड़े पकड़कर खाते हैं यही इनका भोजन होता है. दूधराज का जीव वैज्ञानिक नाम टेरसीफोन पैरादिसी होता है. दूधराज पक्षी मुख्य रूप से पश्चिमी उत्तर प्रदेश से ब्रह्मपुत्र के मैदानों तक व दक्षिण भारत में ही पाया जाता है.
दूधराज में नर व मादा का रंग अलग-अलग होता है जिसमें नर का रंग सफेद होता है, वही मादा का चमकीला काला रंग होता है. इस पक्षी की सबसे बड़ी विशेषता यह मानी गई है कि इनका किशोरावस्था तक नर पक्षी का रंग भी मादा जैसा होता है. लेकिन वक़्त के साथ परिवर्तन होने पर उनका रंग बदल जाता है.
मध्य प्रदेश का राजकीय पक्षी दूधराज एक मनचला पक्षी है और यह ज्यादा-तर छायादार, तालाब व गुफाओं में रहते हैं. यह पक्षी अपना घोंसला काफी छिपाकर बनाते है और आमतौर से जमीन पर न के बराबर ही उतरते है. भारतीय डाक तार विभाग ने दूधराज के जोड़े का एक डाक टिकट भी जारी किया था.
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